SHEIKHPURA: तथाकथित आरोपी चिकित्सक पर करवाई को लेकर बैचैन दिख रहे है सभी राजनीतिक दल,ऑपरेशन के अभाव में गर्भवती की हुई थी मौत
चंदन कुमार/शेखपुरा।
सदर अस्पताल के डॉक्टर पर करवाई को लेकर जिले के तामाम राजनीतिक दल एक होकर अभियान छेड़ दिया है।
दरअसल,सदर अस्पताल में बीते दिनों ऑपरेशन के अभाव में गर्भवती महिला की मौत हो गयी थी और उसके परिजनों ने डॉक्टर पर प्राथमिकी दर्ज करायी थी। अब जिले राजनीतिक दल अपनी रोटियां सेंकने में लगी हुई है। जो राजनीतिक दल एक दूसरे का निंदा करने से बाज़ नही आते थे ,अब वही राजनीतिक एक बैनर तले होकर करवाई को लेकर डीएम -एसपी को आवेदन सौप है। इसके पूर्व राजनीतिक दल सर्वदलीय बैठक भी कर चुके है। अधिकारियों से मिलने पहुंचे शिष्टमंडल में जदयू जिलाध्यक्ष के अलावे जदयू नेता ,अरुण कुमार सिन्हा,विजय सिंह, भगवान कुशवाहा, सीपीआई के जिला सचिव प्रभात कुमार पांडे,
भाजपा नेता अरविंद सिंह ,कांग्रेस नेता मो मोजम, एनसीपी नेता अरविन्द कुमार, बसपा जिलाध्यक्ष बालेश्वर पंडित समेत कई अन्य लोग मौजूद थे।
गौरतलब है कि लापरवाही में हुई महिला की मौत मामले में डॉक्टर पर प्राथमिकी दर्ज की जा चुकी है और अब यह मामला पुलिस का बनता है कि करवाई करे। पर ये समझ मे नही आता है कि राजनीतिक दलों डॉक्टर पर करवाई को लेकर आखिर क्यों बैचैन है।
सदर अस्पताल के डॉक्टर पर करवाई को लेकर जिले के तामाम राजनीतिक दल एक होकर अभियान छेड़ दिया है।
दरअसल,सदर अस्पताल में बीते दिनों ऑपरेशन के अभाव में गर्भवती महिला की मौत हो गयी थी और उसके परिजनों ने डॉक्टर पर प्राथमिकी दर्ज करायी थी। अब जिले राजनीतिक दल अपनी रोटियां सेंकने में लगी हुई है। जो राजनीतिक दल एक दूसरे का निंदा करने से बाज़ नही आते थे ,अब वही राजनीतिक एक बैनर तले होकर करवाई को लेकर डीएम -एसपी को आवेदन सौप है। इसके पूर्व राजनीतिक दल सर्वदलीय बैठक भी कर चुके है। अधिकारियों से मिलने पहुंचे शिष्टमंडल में जदयू जिलाध्यक्ष के अलावे जदयू नेता ,अरुण कुमार सिन्हा,विजय सिंह, भगवान कुशवाहा, सीपीआई के जिला सचिव प्रभात कुमार पांडे,
भाजपा नेता अरविंद सिंह ,कांग्रेस नेता मो मोजम, एनसीपी नेता अरविन्द कुमार, बसपा जिलाध्यक्ष बालेश्वर पंडित समेत कई अन्य लोग मौजूद थे।
गौरतलब है कि लापरवाही में हुई महिला की मौत मामले में डॉक्टर पर प्राथमिकी दर्ज की जा चुकी है और अब यह मामला पुलिस का बनता है कि करवाई करे। पर ये समझ मे नही आता है कि राजनीतिक दलों डॉक्टर पर करवाई को लेकर आखिर क्यों बैचैन है।
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